Friday 26 January 2024

Anti-Hindu Agenda by Congress : Hindi

 Anti-Hindu Agenda by Congress : Hindi


 कृपया पूरे परिवार को पढ़कर सुनायें 👇

         कांग्रेस भारत को संविधान के माध्यम से मुस्लिम राष्ट्र बना चुकी थी;  बस घोषणा नहीं कर पाई

  


अनुच्छेद 25, 28, 30 (1950)

एचआरसीई अधिनियम (1951)

एचसीबी एमपीएल (1956)

धर्मनिरपेक्षता (1975)

अल्पसंख्यक अधिनियम (1992)

POW अधिनियम (1991)

वक्फ अधिनियम (1995)

राम सेतु शपथ पत्र (2007)

केसर (2009)


1) उन्होंने अनुच्छेद 25 द्वारा धर्मांतरण को वैध बनाया।


2) उन्होंने अनुच्छेद 28 के माध्यम से हिंदुओं से धार्मिक शिक्षा छीन ली लेकिन अनुच्छेद 30 के माध्यम से मुस्लिमों और ईसाइयों को धार्मिक शिक्षा की अनुमति दी।


3) उन्होंने एचआरसीई अधिनियम 1951 लागू करके सभी मंदिरों और मंदिरों का पैसा हिंदुओं से छीन लिया।


4) उन्होंने हिंदू कोड बिल के तहत तलाक कानून, दहेज कानून द्वारा हिंदू परिवारों को नष्ट कर दिया लेकिन मुस्लिम पर्सनल लॉ को नहीं छुआ। उन्हें बहुविवाह की अनुमति दी ताकि वे अपनी जनसंख्या बढ़ाते रहें।


5) 1954 में विशेष विवाह अधिनियम लाया गया ताकि मुस्लिम लड़के आसानी से हिंदू लड़कियों से शादी कर सकें।


6) 1975 में उन्होंने आपातकाल लगाया, जबरदस्ती धर्मनिरपेक्षता शब्द संविधान में जोड़ा और जबरदस्ती भारत को धर्मनिरपेक्ष बना दिया।


7) कांग्रेस यहीं नहीं रुकी. 1991 में वे अल्पसंख्यक आयोग कानून लेकर आये और घोषणा की

एमएसएल! एम को अल्पसंख्यक माना जाता है, हालांकि धर्मनिरपेक्ष देश में बहुसंख्यक-अल्पसंख्यक नहीं हो सकते।


8) उन्होंने छात्रवृत्ति, सरकारी जैसे विशेष अधिकार दिए। अल्पसंख्यक अधिनियम के तहत उन्हें लाभ मिले।


9) 1992 में, उन्होंने हिंदुओं को उनके मंदिर कानूनी तरीके से वापस लेने से रोक दिया और पूजा स्थल अधिनियम द्वारा 40000 मंदिर हिंदुओं से छीन लिए।


10) कांग्रेस यहीं नहीं रुकी और 1995 में उन्होंने मुसलमानों को किसी भी जमीन पर दावा करने, वक्फ अधिनियम के जरिए किसी भी हिंदू की जमीन छीनने का अधिकार दे दिया और मुसलमानों को भारत का दूसरा सबसे बड़ा जमीन मालिक बना दिया।


11) 2007 में, उन्होंने सुप्रीम कोर्ट में रामसेतु हलफनामे में श्री राम के अस्तित्व को अस्वीकार कर दिया और हिंदू विरोधी धर्मयुद्ध में चरम बिंदु 2009 में था जब कांग्रेस ने भगवा चरमपंथ शब्द गढ़कर हिंदू धर्म को चरमपंथी धर्म घोषित किया।


12) और मजे की बात यह है कि इसी कांग्रेस ने अपने 136 साल के इतिहास में कभी बुर्के में, तीन तलाक में कोई अतिवाद नहीं पाया!


13) कांग्रेस धीरे-धीरे बड़ी चतुराई से हिंदुओं को नंगा करती रही। वे एक-एक करके हिंदू अधिकारों को छीनते रहे और अब हिंदू पूरी तरह से हर चीज से वंचित हो गए हैं और मजेदार बात यह है कि हिन्दुओं को  इसके बारे में पता तक  नहीं है।


14) उनके पास अपने मंदिर नहीं हैं, उनके पास अपनी धार्मिक शिक्षा नहीं है, उनकी ज़मीनें उनकी स्थायी संपत्ति नहीं हैं।

और वे प्रश्न भी नहीं पूछते!

क्यों मस्जिद और चर्च स्वतंत्र हैं, लेकिन मंदिर सरकार के अधीन हैं? नियंत्रण?

सरकार क्यों हैं? वित्त पोषित मदरसे, कॉन्वेंट स्कूल लेकिन सरकारी नहीं। वित्त पोषित गुरुकुल???


उनका वक्फ अधिनियम तो हिंदू भूमि अधिनियम क्यों नहीं है???

            उनका मु$ल क्यों है m पर्सनल बोर्ड,  लेकिन हिंदू पर्सनल बोर्ड नहीं???

यदि भारत धर्मनिरपेक्ष देश है तो यहां बहुसंख्यक अल्पसंख्यक क्यों हैं??? स्कूलों में रामायण और महाभारत क्यों नहीं पढ़ाई जाती???


15) औरंगजेब ने हिंदू धर्म को नष्ट करने के लिए तलवार का इस्तेमाल किया, कांग्रेस ने हिंदू धर्म को नष्ट करने के लिए संविधान, अधिनियमों, विधेयकों का इस्तेमाल किया और जहां तलवार विफल रही, वहां संविधान ने यह काम किया।


16) और फिर मीडिया है।

अगर कोई ये सवाल पूछने की कोशिश करता है तो उसे सांप्रदायिक, भगवा और भक्त घोषित कर दिया जाता है।


यदि कोई राजनेता इन गलतियों को सुधारने का प्रयास करता है तो उन्हें बुलाया जाता है क्योंकि वे लोकतंत्र को कमजोर कर रहे हैं।


17) याद रखें शक्तिशाली रोमन धर्म के पतन में केवल 80 वर्ष लगे।

प्रत्येक हिंदू को रोमन सभ्यता के पतन के बारे में अवश्य पढ़ना चाहिए।

कोई भी बाहरी ताकत उन्हें हरा नहीं सकी, वे आंतरिक रूप से अपने ही शासक कॉन्सटेंटाइन और ईसाई धर्म से हार गए।


18) हिंदुओं ने 1950 से नेहरू और उनके परिवार को चुना और भारी कीमत चुकाई है और अधिकांश वर्षों तक कांग्रेस सरकारों से उन्हें नुकसान उठाना पड़ा है।


    हिंदुओं के लिए गुलाम मानसिकता से बाहर आने और शिवाजी और महाराजा प्रताप की तरह बनने का समय आ गया है, जो अपने शासनकाल के दौरान कभी ग…

 🙏

सर्वोच्च न्यायापालिका Supreme Court

से विनम्र निवेदन कि वह इसका संज्ञान ले

तुम हमें वोट दो; हम तुम्हें-

... लैपटॉप देंगे ..

....साईकिल देंगे

...स्कूटी देंगे ..

... हराम की बिजली देंगे ..

.... लोन माफ कर देंगे

..कर्जा डकार जाना, माफ कर देंगे 

... ये देंगे .. वो देंगे ... वगैरह, वगैरह। 

क्या ये खुल्लम खुल्ला रिश्वत नहीं?

क्या इससे चुनाव प्रक्रिया बाधित नहीं हो रही !!

क्या इन सब प्रलोभनों से चुनाव निष्पक्ष होंगे?

कोई चुनाव आयोग है भी कि नहीं इस देश में !

आयोग की कोई गाइडलाइंस है भी या नहीं?

वोट के लिए क्या आप कुछ भी प्रलोभन  दे सकते हैं?

ये जनता की गाढ़ी कमाई का पैसा है इसकी जवाबदेही होनी चाहिये,

रोकिए  ये सब .. 

वर्ना बन्द कीजिये ये चुनाव के नाटक .. और मतदान ।

हम मध्यमवर्गीय तंग आ गए हैं, क्या हम इन सबके लिए  भर-भर कर टैक्स  चुकाते रहें?

डिफाल्टर की कर्जमाफी... फोकट की स्कूटी...

हराम की बिजली...

हराम का घर...

दो रुपये किलो गेंहू...

एक रुपया किलो चावल...

चार से छह रुपये किलो दाल...

और कितना चूसोगे टेक्स दाताओं को? 

क्योंकि! वे तुम्हारे आका हैं!

गरीब हैं, थोकिया वोट बैंक हैं, इसलिए फोकट खाना, घर, बिजली, कर्जा माफी दिए जा रहे हैं, 

बाकी लोग किस बात की  सजा भोगें ? 


जबकि  होना ये चाहिये कि हमारे टैक्स से सर्वजनहिताय काम हों, 

देश के विकास का काम हों,

रेल मार्ग, सड़कें, पुल दुरुस्त हों,

रोजगारोन्मुखी कल कारखानें हों,

विकास की खेती लहलहाती हो,

तो सबको टैक्स चुकाना अच्छा लगता.. ।

लेकिन आप तो  देश के एक बहुत बड़े भाग को शाश्वत गरीब ही बनाए रखना चाहते हो। उसके लिए रोजगार सृजन के अनूकूल परिस्थिति बनाने की बजाए आप तथाकथित सोशल वेलफेयर की खैराती योजनाओं के माध्यम से अपना अक्षुण्ण वोट बैंक स्थापित कर रहे हो।

चुनाव आयोग एवं सर्वोच्च न्यायालय से निवेदन हैं कि कर्मशील देश के बाशिन्दों को तुरंत कानून लाकर कुछ भी फ्री देने पर बंदिश लगाई जाए ताकि देश के नागरिक निकम्मे व निठल्ले न बने। जनता को सिर्फ न्याय,शिक्षा व चिकित्सा के अलावा और कुछ भी मुफ्त में नहीं मिलनी चाहिए। तभी देश का विकास संभव है।

एक टैक्सपेयर का दर्द..✍

देशहित के लिए हर एक को भेजें

   🙏 जय हिंद 🙏🇮🇳

कृपया सम्पूर्ण भारत मे व्हाट्सएप के माध्यम से हर ग्रुप में इसको भेजे। जिससे यह बात चुनाव आयोग के कानों तक पहुँचे।

🙏एक टैक्स पेयर

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